न मास्क, न दूरी का ख्याल…पाबंदियों से तंग अंग्रेजों ने भुला दिया कोरोना से मचा हाहाकार
लंदन
ब्रिटेन में कोरोना के रोजाना आ रहे नए मामले प्रति दस लाख पर 600 से भी ज्यादा हैं, लेकिन अंग्रेज संक्रमण की रोकथाम के लिए लागू पाबंदियों से ऊब चुके हैं। इसलिए सरकार भी दबाव में है। टीकाकरण तेज होने के साथ ही सार्वजनिक स्थानों पर मास्क पहनने की अनिवार्यता खत्म कर दी गई है।
मध्य लंदन का ऑक्सफोर्ड सर्कल देश का सबसे व्यस्त क्षेत्र है। यहां देर रात तक जुटने वाली भीड़ को देखकर लगता है कि कोरोना अब कहीं है ही नहीं। भीड़ में लोग न तो मास्क पहन रहे हैं, न ही सामाजिक दूरी का पालन होता है। अंडरग्राउंड के नाम से जानी जाने वाली मेट्रो व्यस्त घंटों में खचाखच भरी रहती है। मेट्रो में मास्क पहनने का नियम है, लेकिन 30 फीसदी से कम लोग इसका पालन करते हैं। जो लोग मास्क पहने नजर आते हैं, उनमें से ज्यादातर गैर-अंग्रेज हैं।
टीकाकरण में काफी आगे
कोरोना को लेकर शुरू से ही ब्रिटेन में पाबंदियों का विरोध होता रहा है, लेकिन अच्छी बात यह रही कि सरकार के प्रयासों से टीकाकरण बेहतर हो गया है। टीकाकरण को लेकर पहले 46 फीसदी लोगों में झिझक थी। यह अब घटकर तीन फीसदी रह गई है। ब्रिटेन की साढ़े छह करोड आबादी में से करीब साढ़े पांच करोड़ लोगों को टीके की एक और साढ़े चार करोड़ को दोनों खुराक लग चुकी हैं। 12 साल से ऊपर के बच्चों को एक खुराक देने और बुजुर्गों को ‘बूस्टर डोज’ देने का काम भी शुरू हो चुका है।